थराली (उत्तराखंड): जिस 108 एम्बुलेंस सेवा को आपातकाल में मरीजों की जान बचाने के लिए तैनात किया गया है, वही एम्बुलेंस खुद बीमार होकर बीच रास्ते में खराब हो जाए तो स्थिति कितनी चिंताजनक हो सकती है — इसका ताजा उदाहरण थराली में देखने को मिला।
थराली सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में तैनात 108 एम्बुलेंस शनिवार को थराली मुख्य बाजार में अचानक खराब हो गई। स्थानीय लोगों की मदद से एम्बुलेंस को धक्का देकर सड़क किनारे किया गया। लगभग आधे घंटे तक एम्बुलेंस वहीं खड़ी रही, जिससे कुछ समय के लिए अफरा-तफरी और असमंजस की स्थिति बनी रही। हालांकि, तकनीकी खामी अपने आप दूर होने के बाद एम्बुलेंस ने दोबारा बागेश्वर अस्पताल के लिए रवानगी ली। सौभाग्यवश, जिस समय यह घटना हुई, उस वक्त एम्बुलेंस में कोई मरीज नहीं था।
प्राप्त जानकारी के अनुसार, यह एम्बुलेंस देवाल के तिहारे गांव से एक मरीज को बागेश्वर अस्पताल ले जाने के लिए निकली थी, लेकिन बाजार क्षेत्र में ही खराब हो गई। यह पहली बार नहीं है जब 108 एम्बुलेंस सेवा की तकनीकी खामियों के चलते समस्याएं सामने आई हों। स्थानीय लोगों का कहना है कि समय-समय पर एम्बुलेंस की मरम्मत और निरीक्षण नहीं होने के कारण इस प्रकार की घटनाएं हो रही हैं।
लोगों ने चिंता जताई है कि अगर यह घटना किसी गंभीर मरीज के साथ होती, तो उसकी जान भी जा सकती थी। सरकार और स्वास्थ्य विभाग से मांग की जा रही है कि 108 एम्बुलेंस सेवाओं की हालत सुधारी जाए और नियमित मेंटेनेंस सुनिश्चित किया जाए, ताकि ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो।